नाई समाज को राजनीतिक भागीदारी देने की मांग, नालंदा में नाई संघ की बैठक में उठी आवाज...!!
● नाई जाति को अनुसूचित जाति में शामिल किया जाय
●अपने बच्चों को शिक्षित बनाएं, खास तौर पर बेटियों को जरूर स्कूल भेजें
बिहारशरीफ-नालंदा, 22 अगस्त 2025 : गुरुवार की देर शाम अखिल भारतीय नाई संघ (ट्रेड यूनियन) नालंदा के बैनर तले जिलाध्यक्ष रंजीत कुमार शर्मा की अध्यक्षता में नाई समाज के विभिन्न ज्वलंत समस्याओं एवं संगठन के विस्तार को लेकर संघ कार्यालय सोहसराय में बैठक की गई।
मौके पर अध्यक्षीय संबोधन में जिलाध्यक्ष रंजीत कुमार शर्मा ने कहा कि नाई संघ के प्रदेश अध्यक्ष देवकिसुन ठाकुर के आह्वान पर पूरे जिले में जन संपर्क अभियान चलाकर नाई संघ को संगठित किया जा रहा है। बिना एकजुटता के इस समाज को हक और अधिकार नही मिल सकता है। उन्होंने कहा कि नाई समाज एकजुट होकर अपने अधिकारों के पूर्ति के लिये आगे आने का कार्य करें। उन्होंने समाज के लोगों को पंचायत से लेकर जिला स्तर पर एक सूत्र में बंधकर संगठित रहने की अपील की। उन्होंने नाई समाज की राजनीतिक उपेक्षा पर गंभीर चिंता जताई।
मौके पर नाई संघ के हुए बैठक में जिला संयोजक राकेश बिहारी शर्मा ने अपने सम्बोधन में कहा कि वर्तमान समय में संघ के चट्टानी एकता को बरकरार रखने की जरूरत है। अब तमाम नाई समाज के लोगों को एक मंच पर गोलबंद होने का समय आ गया है, हम लोग गोलबंद होकर एक साथ मिलकर अपनी चट्टानी एकता का परिचय दें। समाज के विकास में एकजुटता का महत्वपूर्ण योगदान रहता है। इतिहास गवाह है जहां एकता का अभाव रहा है, उसका पतन ही हुआ है। इसलिए हमें विकास का रास्ता चुनने के पहले एकता का रास्ता चुनना पड़ेगा। उन्होंने कहा- दुसरे राज्यों की तरह बिहार में भी राज्य स्तर पर केश कला बोर्ड की स्थापना किया जाय, अतिपिछडे समाज सहित नाई जाति को सरकारी नौकरियों में जनसंख्या के आधार पर आरक्षण दिया जाय, नाई जाति को अनुसूचित जाति में शामिल किया जाय, समाज में शिक्षा की बहुत ही कमी है, उन्होंने सभी से आह्वान किया कि अपने बच्चों को शिक्षित व योग्य बनाएं। खास तौर पर बेटियों को जरूर स्कूल भेजें। उन्होंने लोगों से कहा कि आप भूखे रहकर भी अपने-अपने बच्चों को जरुर पढ़ायें, ताकि एक आदर्श भारतीय नागरिक बन सके।
नाई संघ (ट्रेड यूनियन) नालंदा के जिला उपाध्यक्ष रंजीत कुमार अकेला ने कहा कि प्रदेश में नाई समाज की जनसंख्या काफी है, इसके बावजूद किसी भी राजनीतिक दल द्वारा इस समाज को अहमियत नहीं दी जा रही है। उन्होंने कहा कि पहले जहां नाई समाज सत्ता के शीर्ष पर हुआ करता था, आज उसे हाशिये पर धकेल दिया गया है। उन्होंने चेतावनी दी कि जो पार्टी नाई समाज को नजरअंदाज करेगी, आगामी विधानसभा चुनाव 2025 में नाई समाज भी उन्हें नजरअंदाज करेगा। वहीं, जो दल समाज को सत्ता में भागीदारी देगा, उसे समर्थन दिया जायेगा। उन्होंने विशेष रूप से सभी राजनीतिक दलों से मांग की कि नाई समाज को भी 2025 के चुनाव में भागीदारी दी जाये।
कोषाध्यक्ष राकेश कुमार उर्फ बबलू कुमार ने कहा कि अभी हम लोग कमरों में बैठकर अपनी बात रखते हैं। अगर सड़क पर निकलेंगे तभी हमें हमारा हक मिलेगा।
जिला विधि सलाहकार सुबोध कुमार सारथी ने बताया कि नाई समाज की स्थिति दिन-प्रतिदिन बद से बदतर होते जा रही है। सामाजिक, आर्थिक, सांस्कृतिक एवं राजनैतिक दौड़ में समाज पिछड़ता जा रहा है। आज भी यह समाज याचक की भूमिका में जीने के लिए विवश है। राज्य में हमारी राजनीतिक भागीदारी शून्य है। नाई जाति की गांव-गांव में आबादी होने के बाद भी राजनैतिक दलों द्वारा समाज तिरस्कृत हैं। जल्द ही महासम्मेलन के माध्यम से नाई समाज अपनी शक्ति और एकजुटता का एहसास करायेगी।
वरीय विधि सलाहकार सुरेंद्र प्रसाद ने कहा कि नाई समाज संगठित और आत्मविश्वास से ही हमारी राजनीतिक भागीदारी बढ़ेगी। उन्होंने कहा कि नाई समाज कभी अखंड भारत में शासक रहे हैं। संगठन को हम सभी को मिलकर मजबूत बनना है। समाज के अंतिम व्यक्ति तक पहुंचकर उन्हें संगठन से जोड़ने की बात कही।
बैठक में अखिल भारतीय नाई संघ (ट्रेड यूनियन) के जिला महासचिव पर्मेंद्र शर्मा, जिला कार्यकरणी सदस्य विक्रम कुमार, अरुण बिहारी शरण, धीरज कुमार, विजय कुमार शर्मा, मुन्नाकुमार, भीम कुमार शर्मा, पिंटु कुमार, संतोष कुमार, जनार्दन ठाकुर, सुधीर शर्मा सहित दर्जनों लोग मौजूद रहे।
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