ऑनलाइन हाजिरी बनाना शिक्षकों के लिए सरदर्द, ई-शिक्षाकोष ऐप हो रहा क्रैश....!!
बिहारशरीफ, 09 अक्टूबर 2024 : नालन्दा जिला शिक्षक क्लब के संयोजक दिलीप कुमार ने आज एक बयान जारी करते हुए कहा कि शिक्षा विभाग बिहार सरकार की ओर से सरकारी स्कूलों में पढ़ाने वाले शिक्षकों और प्रधानाध्यापकों को मोबाइल ऐप के माध्यम से ऑनलाइन उपस्थिति दर्ज कराना अनिवार्य कर दिया गया है। लेकिन लेकिन नालंदा जिले के कुल 1290 का ऑन लाइन उपस्थिति दर्ज नहीं हो रहा है।नालन्दा जिले में अभी कुल 15604 शिक्षक हैं। जिनमें से मात्र 13729 शिक्षक ऑन लाइन उपस्थिति दर्ज कर रहे हैं। उन्होंने बताया शिक्षा विभाग के ई-शिक्षा कोष सर्वर और ऐप में ज्यादातर समस्याएं तकनीकी खराबी, लोकेशन, सर्वर की समस्या और ऐप स्लो होने की आ रही हैं। इससे शिक्षक काफी हैरान-परेशान हैं।
लोकेशन बन रहा शिक्षकों का सिरदर्द
ई-शिक्षा कोष ऐप में लैटिट्यूड और लांगीट्यूड की समस्या सबसे अधिक आ रही है, जिस वजह से शिक्षकों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। आश्चर्य की बात है कि कई स्कूल के शिक्षकों का लोकेशन मुख्यालय के अलाबा शहर के विभिन्न स्थान मोबाइल में दिखाई देता है। और यह समस्या जिले के सभी प्रखंडों के स्कूलों में है। जिससे कई शिक्षक ऑनलाइन उपस्थिति दर्ज नहीं कर पा रहे हैं। कई बार ऐसा भी होता है कि सर्वर डाउन होने या नेटवर्क की समस्या के कारण शिक्षक अपनी उपस्थिति ऐप पर दर्ज नहीं करा पाते हैं।
बिहार अराजपत्रित प्रारम्भिक शिक्षक संघ के राज्य परिषद सदस्य राकेश बिहारी शर्मा ने बताया कि ऑनलाइन अटेंडेंस बनाने पर भी ई-शिक्षाकोष पोर्टल सर्वर बार-बार क्रैश हो जाता है। ई-शिक्षाकोष पोर्टल ऐप खुलने में भी समस्या है। इस समस्या से शिक्षक अपना अटेंडेस बनाने के लिए परेशान हो रहे हैं।ई-शिक्षाकोष ऐप मुश्किल से खुलता है, लेकिन उपस्थिति दर्ज होने में काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है। उन्होंने बताया कि समय पर विद्यालय पहुंचने के बाद भी ऑनलाइन उपस्थिति देर से दर्ज होती है या नहीं भी। कई बार मोबाइल ऑन-ऑफ करने के बाद ऐप काम करना शुरू करता है, तब तक देर हो जाती है। कई बार नेटवर्क नहीं रहते तो कई बार ऐप प्रोपर काम नहीं करता। ऐसे में शिक्षकों के लिए ऑनलाइन हाजिरी जी का जंजाल बन गया है। ऑनलाइन अटेंडेंस को लेकर तकनीकी व्यवस्था को सही करने की मांग शिक्षा विभाग से की है।ई-शिक्षाकोश पोर्टल की शुरुआत बिहार सरकार द्वारा की गई है। यह एक ऐसा ऑनलाइन प्लेटफॉर्म है जिस पर छात्र-छात्राओं समेत सभी स्कूलों से संबंधित डाटा को एक जगह पर एकत्रित किया जा रहा है। इस पर स्कूलों में मौजूद छात्रों व शिक्षकों की उपस्थिति, छात्रों का प्रदर्शन, उनके अंक, ग्रेड, प्रोजेक्ट या असाइनमेंट रिपोर्ट, आदि को डिजिटल रूप में अपलोड किया जा रहा है। पोर्टल के माध्यम से शिक्षकों और छात्रों की उपस्थिति और प्रदर्शन की निगरानी भी की जा रही है। यह पोर्टल शिक्षा विभाग की सभी जरूर को पूरा कर रहा है तथा इसका मात्र एक ही उद्देश्य है शिक्षक तथा छात्रों से संबंधित सभी जानकारी को एक ही प्लेटफार्म पर देखा जा सके। पोर्टल पर सभी छात्र-छात्राओं के डाटा को आईसीटी लैब (इनफार्मेशन कम्यूनिकेशन टेक्नॉलजी) द्वारा अपलोड करना है। लेकिन अभी वर्तमान में सभी स्कूलों में आईसीटी लैब नहीं है। और यह डाटा किसी भी साइबर कैफे से अपलोड नहीं किया जा सकता है। इस लिए शिक्षा विभाग के द्वारा सभी सरकारी स्कूलों में नि:शुल्क हाई स्पीड इंटरनेट कनेक्शन लगाया जाय। ताकि शिक्षकों को इन समस्याओं से राहत मिल सके। शिक्षा विभाग तमाम शैक्षिक योजनाओं का संचालन भी ई-शिक्षाकोश पोर्टल के माध्यम से ही कर रही है।
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